महामहिम राज्यपाल एवं झारखण्ड राज्य बाल कल्याण परिषद के अध्यक्ष डा0 सैयद अहमद ने कहा है कि झारखण्ड राज्य बाल कल्याण परिषद अपने कार्यों की एक निषिचत रूप-रेखा तय कर उसे पूर्ण सक्रियता के साथ क्रियानिवत करें। उन्होंने कहा कि बचपन में ही व्यकित की दिषायें तय होती है। अत: परिषद के सदस्यगण बच्चों के सर्वांगीण विकास हेतु पूरी तरह प्रतिबद्ध रहें। महामहिम राज्यपाल आज राजभवन में झारखण्ड राज्य बाल कल्याण परिषद के कार्यों व गतिविधियों में तीव्रता लाने हेतु एक समीक्षा बैठक कर रहे थे। बैठक में महामहिम राज्यपाल के प्रधान सचिव श्री आदित्य स्वरूप, मानव संसाधन विकास विभाग के प्रधान सचिव श्री बी0के0 त्रिपाठी, स्वास्थ्य विभाग के प्रधान सचिव श्री के0 विधासागर, समाज कल्याण विभाग की प्रधान सचिव श्रीमती मृदुला सिन्हा, राँची के उपायुक्त श्री विनय कुमार चौबे, अपर विŸा आयुक्त श्री निरंजन कुमार, परिषद की उपाध्यक्षा श्रीमती रूपलेखा प्रसाद सहित परिषद के कार्यकारिणी के सदस्यगण उपसिथत थे।
महामहिम राज्यपाल ने इस अवसर पर कहा कि विषेष श्रेणी के बच्चों हेतु परिषद को और गंभीरता से कार्य करने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि विषेष श्रेणी के बच्चों को स्वावलंबी और आत्मनिर्भर बानाने हेतु व्यापक रूप से प्रयास करने की जरूरत है। महामहिम ने विषेष श्रेणी के बच्चों के मध्य यथासंभव सार्इकल, चेयर आदि वितरित करने को कहा। विषेष श्रेणी के बच्चों को प्रोत्साहित करने हेतु समय-समय पर विभिन्न प्रकार के कार्यक्रमों के आयोजन हेतु भी परिषद के सदस्यों को सुझाव दिया।
इस अवसर पर महामहिम राज्यपाल ने यह भी कहा कि बैठक में लिये गये निर्णय पर परिषद के सभी सदस्य अमल करे, साथ ही उन्होंने परिषद द्वारा अब तक किये गये कार्यों का प्रतिवेदन समर्पित करने को कहा। महामहिम ने क्रेष सेंटर को बेहतर तरीके से चलाने हेतु अधिकारियों व परिषद के सदस्यों से विचार-विमर्ष किया। बैठक में यह निर्णय लिया गया कि परिषद क्रेष सेंटर के सुदृढि़करण हेतु समाज कल्याण विभाग से समन्वय स्थापित करें। इस अवसर पर प्रधान सचिव, समाज कल्याण विभाग से कहा गया कि वे अपने विभाग के एक-दो कर्मियों की सेवा राज्यपाल सचिवालय को दें, जो परिषद के कार्यों में सहयोग कर सकें। बैठक में निर्णय लिया गया कि आगामी सिंतबर माह के प्रथम सप्ताह में राजभवन के बिरसा मंडप में राज्यस्तरीय पेंटिंग प्रतियोगिता का आयोजन किया जाय। साथ ही, यह भी निर्णय लिया गया कि दिनांक 27 सितम्बर से राज्य स्तरीय साथ रहना सीखें षिविर का आयोजन किया जाय।
बैठक में महामहिम ने समय-समय पर स्वास्थ्य षिविर लगाने हेतु परिषद के सदस्यों को निदेष दिया। उन्होंने इस हेतु परिषद के सदस्यों को स्वास्थ्य विभाग से भी समन्यव स्थापित करने के लिए कहा। इस अवसर पर प्रधान सचिव, स्वास्थ्य ने कहा कि विभाग के पास इस हेतु योजनायें हैं, परिषद द्वारा समय पर षिविर के आयोजन की तिथि से अवगत करा देने पर विभाग की ओर से चिकित्सक, दवाएँ आदि सुलभ करा दी जायेगी। बैठक में इस पर भी चर्चा की गर्इ कि सी0एस0आर0 के तहत बहुत सी कंपनियाँ कार्य करती है, अत: परिषद कंपनियों से संपर्क स्थापित कर सहयोग लें। बैठक में परिषद द्वारा मेला आयोजित करने का भी निर्णय लिया गया।
बैठक में महामहिम राज्यपाल ने कहा कि जिन बच्चों को उनके अभिभावक छोड़ जाते हैं अथवा नहीं है, उनके लिए एडोपषन सेंटर का गठन किया जाय, जो हर बच्चा हमारा है और उन्हें समाज की मुख्य धारा से जोड़ा जाय हेतु कार्य करें। बच्चों के ट्रैफिकिंग व बाल मजदूरी पर भी रोक लगाने हेतु भी बैठक में चर्चा हुर्इ। महामहिम राज्यपाल ने इस हेतु जागरूकता लाने की आवष्यकता पर बल देने के साथ-साथ परिषद के सदस्यों से पलायन की वजह का भी पता लगाने के लिए कहा, ताकि इस पर अमल हो सकें।
इस अवसर पर महामहिम राज्यपाल के प्रधान सचिव श्री आदित्य स्वरूप ने कहा कि राज्य सरकार द्वारा बच्चों के कल्याण हेतु चलाये जा रहे विभिन्न कार्यक्रमों में परिषद की सहभागिता सुनिषिचत हो, इस हेतु परिषद के सदस्यों को विभिन्न विभागों द्वारा चलाये जा रहे कार्यक्रमों की ओर ध्यान देने की आवष्यकता है। बैठक में यूनिसेफ की ओर से कहा गया कि परिषद अपने गतिविधियों को तेज करें, अपने कार्यों का प्रचार-प्रसार करें तथा उनका निरंतर अनुश्रवण करें। उन्होंने कहा कि यूनिसेफ द्वारा बच्चों के कल्याणार्थ किये जा रहे कार्यों में परिषद को हर संभव सहायता प्रदान की जायेगी।
(क्राानित कान्त)
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